‘एक ही विजन, एक ही मिशन’ नारेबाजी के साथ शिक्षकों ने विरोध प्रदर्शन किया।
राज्य में पुरानी पेंशन योजना लागू करने की मांग को लेकर शिक्षक लंबे समय से विरोध प्रदर्शन और आंदोलन कर रहे हैं। 1 अप्रैल 2005 से पहले विज्ञापित एवं नियुक्त शिक्षकों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ देने की मांग की जा रही है। शुक्रवार को एक बार फिर अखिल भा
.
शिक्षकों ने मांग करते हुए कहा कि कुछ समय पहले जब राज्य सरकार के साथ बैठक हुई थी तब सरकार ने पुरानी पेंशन योजना के संदर्भ में निराकरण लाने का आश्वासन दिया था लेकिन आज तक प्रस्ताव जारी नहीं करने पर धरने पर बैठना पड़ा है। अगर सरकार मांग पूरी नहीं करती है तो फिर से आंदोलन करने की धमकी दी है। अनुमति नहीं मिलने के बावजूद शिक्षकों ने धरना दिया है।
मांगें नहीं मानी तो आंदोलन करेंगे: अध्यक्ष भीखा पटेल
गुजरात प्रदेश अखिल भारतीय शैक्षिक महा संघ के अध्यक्ष भीखा पटेल ने कहा कि शिक्षकों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ दिलाने के लिए पहले भी महा पंचायत ने आंदोलन किया था। आज फिर बहुत बड़ा आंदोलन किया गया है। इससे पहले वर्तमान गृह राज्य मंत्री हर्ष संघवी ने अपने बंगले पर बुलाकर समाधान करने का आश्वासन दिया था, लेकिन अभी तक कोई समाधान नहीं हुआ है। अगर सरकार की ओर से कोई सकारात्मक जवाब नहीं आया तो हम जल्द ही आंदोलन भी करेंगे। हमारी मांग है कि सरकार जल्द से जल्द पुरानी पेंशन योजना के लिए प्रस्ताव जारी करें।
राज्य सरकार ने वादा नहीं निभायाः प्रांत महिला उपाध्यक्ष
प्रांत महिला उपाध्यक्ष पल्लवी पटेल ने कहा कि 2005 से पहले की पुरानी पेंशन योजना को सरकार ने पहले के धरना कार्यक्रम में स्वीकार कर लिया था, लेकिन महासंघ के बार-बार मांग करने के बाद भी इसे लागू नहीं किया गया है। इसलिए आज बड़ी संख्या में धरना दिया है। पेंशन सबका अधिकार है।
पिछले साल भी हमने सरकार से अनुरोध किया था, लेकिन राज्य सरकार ने वादा नहीं निभाया है। इसलिए सरकार को फिर याद दिलाने आए हैं। शाम तक मांगें मान लीजिए। पुरानी पेंशन योजना का लाभ 2005 से पहले के शिक्षकों को मिले और 2005 के बाद के शिक्षक भी इस पेंशन के हकदार हैं। उन्हें भी पेंशन दें। हमारी मांगे पूरी करें।