Sukhbir Singh Badal Attack Case; Khalistani Narayan Singh Chaura | Golden Temple | सुखबीर बादल पर पूरी प्लानिंग से की फायरिंग: 3 दिन से गोल्डन टेंपल आ रहा था खालिस्तानी आतंकी चौड़ा; लगातार फोन पर बात कर रहा था – Amritsar News

वारदात से पहले गोल्डन टेंपल से गुजरता आरोपी नारायण चौड़ा (लाल घेरे में), उसके हाथ में मोबाइल भी है।

पंजाब के पूर्व डिप्टी CM सुखबीर बादल पर फायरिंग करने वाले खालिस्तानी आतंकी नारायण सिंह चौड़ा ने पूरी प्लानिंग से वारदात को अंजाम दिया। वह पिछले 3 दिन से गोल्डन टेंपल आ रहा था। पुलिस ने हमले के बाद गोल्डन टेंपल में लगे सीसीटीवी खंगाले और वहां तैनात सेव

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आतंकी चौड़ा गोल्डन टेंपल परिसर में घूमते हुए दिखा। हालांकि तब उसके पास हथियार था या नहीं, इसका पता नहीं लगा है।

चौड़ा ने बुधवार को गोल्डन टेंपल के बाहर गेट पर अकाल तख्त की ओर से दी गई सेवादार की सजा भुगत रहे सुखबीर बादल की हत्या की कोशिश की। हालांकि सुखबीर की सुरक्षा में तैनात ASI जसबीर सिंह ने उसे देख लिया और पिस्टल का मुंह ऊपर को कर दिया, जिससे सुखबीर की जान बच गई।

चौड़ा की गिरफ्तारी के बाद भी कुछ वीडियो सामने आए हैं, जिसमें वह फायरिंग के बाद मुस्कुराते हुए नजर आया। इससे साफ है कि उसे न तो पकड़े जाने का डर था और न ही इस घटना को लेकर कोई पछतावा हो रहा था।

खास बात यह भी है कि चौड़ा पाकिस्तान में हथियारों की ट्रेनिंग ले चुका था। उसने बम बनाने और चलाने से लेकर इंपोर्टेड हथियारों तक की ट्रेनिंग ली है। हालांकि, सुरक्षाकर्मी की मुस्तैदी से उसका सुखबीर बादल को मारने का प्लान फेल हो गया।

गोल्डन टेंपल में लगे CCTV कैमरों में 3 जगह दिखा आतंकी चौड़ा…

श्री अकाल तख्त सचिवालय की तरफ से 9.11 बजे गोल्डन टेंपल में दाखिल होता नारायण चौड़ा।

श्री अकाल तख्त सचिवालय की तरफ से 9.11 बजे गोल्डन टेंपल में दाखिल होता नारायण चौड़ा।

आरोपी नारायण चौड़ा 9.13 बजे बुड्‌ढ़ा बेर के पास पहुंचा।

आरोपी नारायण चौड़ा 9.13 बजे बुड्‌ढ़ा बेर के पास पहुंचा।

दर्शनी ड्योढी की सीढ़ियां चढ़ता नारायण चौड़ा। इसी के बाहर सुखबीर बादल सजा भुगत रहे थे।

दर्शनी ड्योढी की सीढ़ियां चढ़ता नारायण चौड़ा। इसी के बाहर सुखबीर बादल सजा भुगत रहे थे।

सुखबीर बादल पर हमले से पहले चौड़ा से जुड़ी 5 अहम बातें…

1. सुबह 9.11 बजे गोल्डन टेंपल पहुंच गया था चौड़ा नारायण चौड़ा सुबह 9.11 बजे गोल्डन टेंपल परिसर में आ गया था। उसने श्री अकाल तख्त सचिवालय से गोल्डन टेंपल के अंदर एंट्री की थी। वे पहले बाहर सेवादार बन सेवा कर रहे सुखबीर बादल के पास नहीं गया था। उसने पहले गोल्डन टेंपल के अंदर रेकी की थी और सही जगह तलाशी, जहां से वह घटना को अंजाम दे सकता था। सुबह 9.13 बजे नारायण चौड़ा परिक्रमा में बुड्‌ढ़ा बेर के पास दिखा था। इसके बाद वह दर्शनी ड्योढ़ी के नीचे बनी सीढ़ियों से ऊपर जाता सीसीटीवी में कैद हुआ था। सुबह 9.26 बजे उसने सुखबीर बादल पर फायर कर दिया।

2. फोन पर कर रहा था किसी से बातचीत नारायण चौड़ा का फोन इस समय पुलिस की कस्टडी में है। लेकिन जब वह सुबह 9.11 बजे गोल्डन टेंपल परिसर में आया तो लगातार फोन पर किसी से बातचीत कर रहा था। अनुमान लगाया जा रहा है कि वह देश-विदेश में बैठे आतंकियों से इंस्ट्रक्शंस हासिल कर रहा था। फिलहाल उसके फोन की फोरेंसिक जांच चल रही है।

3. तीन दिन से लगातार आ रहा था गोल्डन टेंपल सुखबीर बादल को 2 दिसंबर को सजा सुनाई गई थी। तब और उसके बाद 3 दिसंबर को भी चौड़ा गोल्डन टेंपल में आया था। पुलिस अधिकारियों ने भी यह माना है कि चौड़ा के रोजाना इन दिनों गोल्डन टेंपल आने की जानकारी मिली थी। इसके चलते वे सतर्क भी थे और इस तथ्य की गंभीरता से जांच भी की जा रही है।

शिरोमणि अकाली दल के नेता बिक्रम मजीठिया ने CCTV शेयर कर दावा किया है कि 3 दिसंबर को अमृतसर पुलिस के SP हरपाल सिंह आरोपी नारायण सिंह चौड़ा से मिले थे।

शिरोमणि अकाली दल के नेता बिक्रम मजीठिया ने CCTV शेयर कर दावा किया है कि 3 दिसंबर को अमृतसर पुलिस के SP हरपाल सिंह आरोपी नारायण सिंह चौड़ा से मिले थे।

4. 6.15 बजे निकला था घर से नारायण चौड़ा तकरीबन 6.15 बजे अपने घर से निकला था। उसकी पत्नी जसमीत कौर ने यह जानकारी साझा की। डेरा बाबा नानक से अमृतसर पहुंचने में एक से डेढ़ घंटे का समय लगता है। 9.11 बजे वह गोल्डन टेंपल में दाखिल हुआ। जांच का विषय है कि वह एक-डेढ़ घंटा कहां रहा और किस-किस से मुलाकात की।

ऐसे में यह शक है कि वह किसी से या अपने ठिकाने से हथियार लेने गया था। चौड़ा ने US मेड 9mm स्टार पिस्टल से सुखबीर बादल पर फायर किया था। यह गैर-लाइसेंसी पिस्टल है। शुरुआती जांच में यही सामने आ रहा है कि यह पिस्टल चौड़ा तक सरहद पार से आई थी। पुलिस इसे कब्जे में ले चुकी है।

नारायण चौड़ा को सुखबीर बादल पर गोली चलाने से रोकता ASI जसबीर सिंह। इस दौरान चौड़ा की पिस्टल से चली गोली गोल्डन टेंपल की दर्शनी ड्योढ़ी पर लगी।

नारायण चौड़ा को सुखबीर बादल पर गोली चलाने से रोकता ASI जसबीर सिंह। इस दौरान चौड़ा की पिस्टल से चली गोली गोल्डन टेंपल की दर्शनी ड्योढ़ी पर लगी।

पंजाब पुलिस 3 एंगल पर कर रही फायरिंग की जांच…

विदेशी एजेंसी या खालिस्तानी संगठन? गुरदासपुर के डेरा बाबा नानक में गांव चौड़ा का रहने वाला नारायण सिंह चौड़ा खालिस्तानी आतंकी रहा है। इस वक्त भी वह खालिस्तान यानी सिखों के लिए भारत से अलग देश की मांग का समर्थक है। ऐसे में पड़ताल की जा रही है कि उसने यह कदम क्यों उठाया? उसके पीछे किसी विदेशी एजेंसी या खालिस्तानी संगठन का हाथ तो नहीं है?

पॉलिटिकल दुश्मनी तो नहीं? सुखबीर बादल अकाली दल के प्रधान हैं। हालांकि फिलहाल वे इस्तीफा दे चुके हैं लेकिन वह मंजूर नहीं हुआ है। 2 दिन पहले ही उन्होंने श्री अकाल तख्त साहिब पर अपनी गलतियां भी कबूलीं। उन्हें किसी पॉलीटिकल दुश्मनी के कारण निशाना तो नहीं बनाया गया?

विदेशी फंडिंग या सुखबीर के प्रति सहानुभूति तो नहीं? इसके अलावा पुलिस सहानुभूति के एंगल पर भी जांच कर रही है। सहानुभूति का यह एंगल नारायण चौड़ा और सुखबीर बादल, दोनों की तरफ घूमता है। नारायण चौड़ा ने कहीं विदेशी फंडिंग के लिए तो ऐसा नहीं किया या फिर राजनीतिक हाशिए पर पहुंचे सुखबीर बादल से जोड़कर भी पुलिस इसे देख रही है।

पुलिस कमिश्नर गुरप्रीत सिंह भुल्लर।

पुलिस कमिश्नर गुरप्रीत सिंह भुल्लर।

पुलिस के दावों पर अकाली नेताओं ने उठाए सवाल सुखबीर बादल पर हुए हमले के बाद अकाली दल के नेताओं ने लगातार पंजाब सरकार, पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों पर सवाल उठाने शुरू कर दिए। सुखबीर बादल की सांसद पत्नी हरसिमरत कौर बादल के भाई पूर्व अकाली मंत्री बिक्रम मजीठिया ने कहा कि नारायण चौड़ा आतंकी संगठनों से जुड़ा रहा। वह आपराधिक किस्म का है।

वह 3 दिन से गोल्डन टेंपल में घूम रहा था। इंटेलिजेंस को उसके गोल्डन टेंपल आने की सूचना थी। इसके बावजूद न उस पर नजर रखी गई और न ही उसकी हरकतों को ट्रैक किया गया।

4 दिसंबर के वीडियो फुटेज में साफ है कि वह लगातार सुखबीर बादल को निशाना बनाने की तैयारी में था और अपने साथ हथियार लेकर घूम रहा था। इसके बावजूद पुलिस ने उसे न रोका और न ही उसकी जांच की। अगर उसकी जांच की जाती तो उससे हथियार पहले ही मिल जाता और यह घटना न होती।

आतंकी नारायण सिंह चौड़ा की गिरफ्तारी के बाद की फोटो। हमले के बाद वह हंसते हुए नजर आ रहा है।

आतंकी नारायण सिंह चौड़ा की गिरफ्तारी के बाद की फोटो। हमले के बाद वह हंसते हुए नजर आ रहा है।

SGPC का प्रचारक रहा, ISI से ट्रेनिंग ले चुका चौड़ा नारायण चौड़ा एक समय शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) में प्रचारक रह चुका है। 1982 में उसने अकाल फेडरेशन जॉइन कर ली थी। चौड़ा ट्रेनिंग लेने के लिए पाकिस्तान भी गया। ISI से उसने हर तरह की पिस्टल, रिवाल्वर, गन चलाने की ट्रेनिंग ली।

चौड़ा इतना शातिर है कि खुद बम बनाने से लेकर उसे प्लांट और ब्लास्ट करने का माहिर है। गुरिल्ला वॉर में माहिर चौड़ा ने इस पर एक किताब भी लिखी थी। तकरीबन 6 साल तक वह पाकिस्तान में रहा था और 1990 में उसने वापसी की। इसके बाद उसने अपनी खालिस्तान नेशनल फोर्स बना ली।

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