तिरुवनंतपुरम6 मिनट पहले
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एम मोहन केरल के अलप्पुझा के रहने वाले हैं। ISRO ने उन्हें परफॉर्मेंस एक्सीलेंस अवॉर्ड और मेरिट अवॉर्ड से सम्मानित किया है।
ISRO चीफ वी. नारायणन ने विक्रम साराभाई स्पेस सेंटर (VSSC) के मौजूदा डायरेक्टर (प्रोजेक्ट्स) और वैज्ञानिक एम. मोहन को इसरो के लिक्विड प्रोपल्शन सिस्टम्स सेंटर (LPSC) का डायरेक्टर नियुक्त किया है।
एम मोहन 2008 में चंद्रयान-1 मिशन के तहत मून इम्पैक्ट प्रॉब (MIP) प्रोजेक्ट के सिस्टम लीडर थे, जिसमें भारतीय राष्ट्रीय ध्वज को चंद्रमा की सतह पर सफलतापूर्वक स्थापित किया गया था।
एम मोहन केरल के अलप्पुझा के रहने वाले हैं। उन्होंने कई और भी महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया है। मोहन की उपलब्धियों को 2016 में इसरो परफॉर्मेंस एक्सीलेंस अवॉर्ड और 2010 में इसरो मेरिट अवॉर्ड से सम्मानित किया गया है।
विक्रम साराभाई स्पेस सेंटर में कई बड़े पदों पर रह चुके इससे पहले एम. मोहन ने जून 2023 से जून 2024 तक ह्यूमन स्पेस फ्लाइट सेंटर के निदेशक के रूप में कार्य किया। वे विक्रम साराभाई स्पेस सेंटर (रिसर्च एंड डेवलपमेंट) के एसोसिएट डायरेक्टर, विक्रम साराभाई स्पेस सेंटर (मैकेनिकल इंजीनियरिंग) के डिप्टी डायरेक्टर और एयरोस्पेस ऑर्डिनेंस एंटिटी के डिप्टी डायरेक्टर सहित कई प्रमुख पदों पर कार्य कर चुके हैं।
GSLV प्रोग्राम के प्रोजेक्ट डायरेक्टर रहे उन्होंने GSLV प्रोग्राम के प्रोजेक्ट डायरेक्टर के तौर पर भी काम किया और 2018 में पूरे हुए दो मिशन – GSLV-F08/GSAT-6A और GSLV-F11/GSAT-7A – के मिशन डायरेक्टर रहे। वे क्रायोजेनिक अपर स्टेज (CUS) के प्रोजेक्ट डायरेक्टर, LPSC के मेटेरियल्स और मैन्युफैक्चरिंग एंटिटी के डिप्टी डायरेक्टर, और VSSC के स्पेस कैप्सूल रिकवरी प्रोजेक्ट (SRE-2) के प्रोजेक्ट डायरेक्टर शामिल हैं।
वह एयरोनॉटिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया के फैलो हैं और सोसाइटी ऑफ एयरोस्पेस मैन्युफैक्चरिंग इंजीनियर्स (SAME) के अध्यक्ष हाई एनर्जी मेटेरियल्स सोसाइटी ऑफ इंडिया (HEMSI), और इंडियन सोसाइटी फॉर एयरोस्पेस एंड रिलेटेड मैकेनिज्म (INSARM) जैसी कई संस्थाओं के लाइफटाइम सदस्य भी हैं।