नई दिल्ली11 मिनट पहले
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IMF ने भारत के लिए महंगाई के अनुमान को भी घटाया। FY26 में महंगाई 2.8% रहने की उम्मीद है।
वित्त वर्ष 2026 में भारत की अर्थव्यवस्था 6.6% की दर से बढ़ेगी। इंटरनेशनल मॉनेटरी फंड यानी IMF ने मंगलवार (14 अक्टूबर) को भारत की ग्रॉस डोमेस्टिक प्रोडक्ट यानी GDP ग्रोथ का अनुमान बढ़ाया है। इससे पहले IMF ने जुलाई में FY26 में भारत की GDP ग्रोथ रेट का अनुमान 6.4% बताया था।
IMF ने अपनी अक्टूबर कि वर्ल्ड इकोनॉमिक आउटलुक रिपोर्ट में कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था वित्त वर्ष 2025-26 में पहले के अनुमान से ज्यादा तेजी से बढ़ेगी। वहीं IMF ने FY27 के लिए अनुमान को थोड़ा कम करके 6.2% कर दिया है।
वर्ल्ड बैंक ने भी भारत की GDP ग्रोथ का अनुमान बढ़ाया

IMF के मुताबिक, भारत की अर्थव्यवस्था ने FY26 की पहली तिमाही में 7.8% की शानदार ग्रोथ दर्ज की, जो पिछले एक साल में सबसे तेज रही। दूसरी तिमाही में भी करीब 7% की बढ़ोतरी की उम्मीद है। इस मजबूत प्रदर्शन का कारण घरेलू मांग में तेजी, सर्विस सेक्टर के एक्सपोर्ट में ग्रोथ और साल की शुरुआत में अच्छा प्रदर्शन रहा। IMF ने कहा कि ये पॉजिटिव रुझान अमेरिका के भारत पर लगाए गए टैरिफ के असर को भी पीछे छोड़ रहे हैं।
IMF से पहले वर्ल्ड बैंक और रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने भी भारत की GDP ग्रोथ के अनुमान को बढ़ाया। वर्ल्ड बैंक ने पिछले हफ्ते FY26 के लिए अपने अनुमान को 6.3% से बढ़ाकर 6.5% किया, जिसमें मजबूत खपत और जीएसटी सुधारों को वजह बताया। वहीं RBI ने भी अपने अनुमान को 6.5% से बढ़ाकर 6.8% कर दिया।
IMF ने भारत के लिए महंगाई के अनुमान को भी घटाया
IMF ने भारत के लिए महंगाई यानी इन्फ्लेशन के अनुमान को भी कम किया है। FY26 में इन्फ्लेशन 2.8% रहने की उम्मीद है, जो अप्रैल में अनुमानित 4.2% से काफी कम है। FY27 के लिए भी इसे 4.1% से घटाकर 4% कर दिया गया है। भारत में रिटेल महंगाई सितंबर में 1.54% के आठ साल के निचले स्तर पर पहुंच गई, जो अगस्त में 2.07% थी।

भारत दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था
IMF ने कहा कि भारत, मलेशिया, फिलीपींस और थाईलैंड जैसे देशों में महंगाई उम्मीद से कम रही। वैश्विक व्यापार में अनिश्चितताओं और नीतिगत सख्ती के बावजूद भारत दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था बना हुआ है। यह भारत के लिए गर्व की बात है कि वह अपने समकक्ष देशों को लगातार पीछे छोड़ रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि भारत की अर्थव्यवस्था को मजबूत घरेलू मांग, निर्यात में बढ़ोतरी और GST सुधारों का समर्थन मिल रहा है। हालांकि, वैश्विक चुनौतियां जैसे व्यापार बाधाएं और ब्याज दरों में बदलाव पर नजर रखने की जरूरत है। फिर भी भारत का आर्थिक भविष्य उज्ज्वल दिख रहा है और यह देश के लिए एक पॉजिटिव मैसेज है।
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