सोनीपत में दुकानदारों ने इकट्ठा होकर प्रदर्शन किया।
हरियाणा सरकार द्वारा लाए गए बीज हरियाणा संशोधन विधेयक 2025 का विरोध पूरे प्रदेश में हो गया है। सोनीपत में दुकानदारों ने इकट्ठा होकर प्रदर्शन किया। बिल के विरोध में प्रदेश के बीज विक्रेता लामबंद हो गए हैं। नकली और मिलावटी बीज बेचने वालों पर शिकंजा कसन
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इसके चलते, प्रदेश भर के बीज विक्रेताओं ने सोमवार से एक सप्ताह तक अपनी दुकानें बंद रखने का फैसला किया है, जिससे खरीफ की बुवाई की तैयारी कर रहे किसानों पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं।
मामला क्या है हरियाणा सरकार ने नकली और मिलावटी बीज की बिक्री पर अंकुश लगाने के लिए बीज अधिनियम में संशोधन किया है। इस बीज हरियाणा संशोधन विधेयक 2025 के तहत, यदि बेचे गए बीज की गुणवत्ता खराब पाई जाती है, तो न केवल बीज उत्पादक बल्कि विक्रेता के खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की जाएगी। नए संशोधन के अनुसार, खराब गुणवत्ता वाले बीज पाए जाने पर उत्पादक और विक्रेता दोनों को 3 महीने से 3 साल तक की जेल की सजा और 50 हजार से 5 लाख रुपए तक का जुर्माना हो सकता है।
विवाद क्या है बीज विक्रेताओं का कहना है कि इस संशोधन विधेयक में विक्रेता को भी उत्पादक के समान जिम्मेदार ठहराया गया है, जबकि विक्रेता की भूमिका केवल बीज बेचने तक सीमित होती है। उनका तर्क है कि बीज की गुणवत्ता की जिम्मेदारी मुख्य रूप से उत्पादक की होती है और यदि बीज खराब निकलता है तो इसके लिए उन्हें भी सजा देना अनुचित है। विक्रेताओं को डर है कि इस कानून के तहत उन्हें अनावश्यक रूप से परेशान किया जाएगा और उनके व्यापार पर नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा। इसी विरोध में प्रदेश के बीज उत्पादकों ने पहले ही बीज की सप्लाई बंद कर दी थी, जिसके बाद अब विक्रेताओं ने भी दुकानें बंद करने का फैसला लिया है।

प्रदेश भर के बीज विक्रेताओं ने सोमवार से एक सप्ताह तक अपनी दुकानें बंद रखने का फैसला किया है
प्रदेश भर में सात दिन की हड़ताल रहेगी कुरुक्षेत्र में रविवार को हुई प्रदेश भर के बीज विक्रेताओं की महत्वपूर्ण बैठक में यह निर्णय लिया गया कि सोमवार, 7 अप्रैल 2025 से पूरे प्रदेश में बीज की दुकानें एक सप्ताह तक बंद रहेंगी। सोनीपत के बीज विक्रेता भी आज अपनी बैठक कर आगे की रणनीति पर विचार करेंगे, लेकिन फिलहाल प्रदेशव्यापी हड़ताल एक सप्ताह के लिए घोषित की गई है।
कौन-कौन लोग प्रभावित होंगे खरीफ की फसल की बुवाई का समय नजदीक आ रहा है। सप्ताह भर के अंदर ज्वार, कपास और धान जैसे मुख्य बीजों की मांग शुरू हो जाएगी। यदि दुकानें बंद रहती हैं, तो किसानों को समय पर गुणवत्तापूर्ण बीज उपलब्ध नहीं हो पाएगा, जिससे उनकी बुवाई में देरी हो सकती है और फसल उत्पादन प्रभावित हो सकता है। सोनीपत जिले में ही खरीफ सीजन के दौरान लगभग 2 लाख हेक्टेयर भूमि पर विभिन्न फसलें उगाई जाती हैं, जिसके लिए बड़ी मात्रा में बीज की आवश्यकता होती है।
दुकानों के बंद रहने से बीज विक्रेताओं का व्यापार बुरी तरह प्रभावित होगा। यह उनके सीजन का महत्वपूर्ण समय होता है जब वे करोड़ों रुपए का व्यापार करते हैं। हड़ताल के कारण उन्हें आर्थिक नुकसान उठाना पड़ेगा।
क्या मांग की जा रही है बीज विक्रेताओं की मुख्य मांग है कि सरकार बीज हरियाणा संशोधन विधेयक 2025 में विक्रेता की जिम्मेदारी को लेकर किए गए प्रावधानों पर पुनर्विचार करे। वे चाहते हैं कि विक्रेता को केवल बीज बेचने के लिए जिम्मेदार माना जाए और बीज की गुणवत्ता के लिए मुख्य रूप से उत्पादक को ही उत्तरदायी ठहराया जाए। उनका कहना है कि यदि सरकार उनकी मांगों पर ध्यान नहीं देती है तो यह हड़ताल आगे भी बढ़ सकती है, जिससे किसानों और विक्रेताओं दोनों की मुश्किलें और बढ़ जाएंगी।
प्रधान सतीश कुमार बिन्नी बोले
बीज की सप्लाई पहले ही गुरुवार से बंद कर दी गई थी। रविवार को कुरुक्षेत्र में हुई बैठक में यह तय हुआ कि एक सप्ताह तक दुकानें बंद रखकर विरोध दर्ज करवाया जाएगा। इस निर्णय से दुकानदारों और किसानों दोनों को परेशानी होगी। सरकार को अपने फैसले पर पुनर्विचार करना चाहिए।