Haryana Amit Shah Visit Controversy; Manohar Lal Khattar | अमित शाह का दौरा रद्द होने की इनसाइड स्टोरी: खट्‌टर JJP विधायकों को पार्टी जॉइन कराने पर अड़े; शाह इनकी एंट्री से खुश नहीं – Hisar News

विधानसभा चुनाव की तारीख बदलने के साथ ही केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह का हरियाणा दौरा रद्द हो गया। आज उन्हें जींद में जन आशीर्वाद रैली में आना था। इससे भाजपा पहली लिस्ट जारी होने से पहले ही पूरी तरह बैकफुट पर आ गई है। वहीं बाहरी प्रत्याशियों को टिकट मि

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पार्टी सूत्रों के मुताबिक अमित शाह का दौरा ऐसे समय में रद्द हुआ है, जब केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्‌टर और अमित शाह बाहरी नेताओं की पार्टी में एंट्री को लेकर आमने सामने हैं। एक तरफ खट्टर जननायक जनता पार्टी (JJP) विधायकों की एंट्री को लेकर भाजपा पर पूरा दबाव बना रहे हैं।

दूसरी तरफ अमित शाह पिछले दिनों पंचकूला में भाजपा पदाधिकारियों के साथ हुई मीटिंग में साफ कह चुके हैं कि अब भाजपा में कोई जॉइनिंग नहीं होगी, क्योंकि भाजपा अपने बूते पर चुनाव लड़ने में सक्षम है। ऐसे में अमित शाह, खट्‌टर के दबाव और JJP विधायकों की पार्टी में एंट्री से खुश नहीं हैं।

भाजपा में आखिरी बड़ी एंट्री 19 जून को पूर्व मुख्यमंत्री चौधरी बंसीलाल की पुत्रवधु किरण चौधरी और उनकी बेटी श्रुति चौधरी की हुई थी। हाल ही में किरण भाजपा से राज्यसभा सांसद बनी हैं।

RSS भी बाहरी नेताओं की एंट्री नहीं चाहता
वहीं फरीदाबाद में 2 दिनों तक चली स्वयं सेवक संघ (RSS) की समन्वय बैठक में भी यह साफ कहा गया था कि भाजपा के लिए जो कार्यकर्ता मेहनत कर रहे हैं] उनको टिकट के लिए मौका दिया जाना चाहिए। जब भाजपा 2014 में सत्ता में आई थी, तब नए चेहरे ही जनता के सामने थे। ऐसे में पार्टी के नए लोगों को ही मौका देना चाहिए, दूसरे दलों से आए नेताओं को टिकट में प्राथमिकता देने से संगठन में गलत संदेश जाता है और संगठन का कोई औचित्य नहीं रह जाता।

JJP विधायक अपनी सीट पर टिकट चाह रहे
JJP से बागी विधायक उन्हीं सीटों से चुनाव लड़ना चाहते हैं, जहां से वह विधायक चुने गए थे। इसमें नरवाना के विधायक रामनिवास सुरजाखेड़ा, बरवाला से जोगीराम सिहाग, उकलाना से अनूप धानक और नारनौंद से राम कुमार गौतम शामिल हैं। यह सभी विधायक भाजपा नेताओं को ही हराकर जीते थे।

ऐसे में पार्टी में इनकी एंट्री और उसी हलके से उम्मीदवारी पर घमासान मच सकता है। अगर JJP से बागी हुए विधायकों को उनकी मनपसंद सीट मिलती है तो कई सीटों पर BJP के स्टार प्रचारकों को उन नेताओं के लिए वोट मांगने होंगे, जिन्होंने 2019 में भाजपा प्रत्याशियों को हराया था।

पंचकूला में हुई मीटिंग में अमित शाह ने जीत का मंत्र और ग्राउंड पर मेहनत की सलाह दी थी।

पंचकूला में हुई मीटिंग में अमित शाह ने जीत का मंत्र और ग्राउंड पर मेहनत की सलाह दी थी।

शाह की जगह खट्‌टर होंगे रैली में मुख्य अतिथि

जींद में आज होने वाली भाजपा की जन आशीर्वाद रैली में अमित शाह की जगह मनोहर लाल खट्‌टर मुख्य अतिथि होंगे। इनके अलावा, मुख्यमंत्री नायब सैनी और प्रदेशाध्यक्ष मोहन लाल बड़ौली भी मौजूद रहेंगे।

JJP विधायकों ने बचाई थी खट्‌टर की कुर्सी
2019 में हुए विधानसभा चुनाव में जजपा ने भाजपा के साथ मिलकर सरकार बनाई थी। जजपा नेता और सरकार में डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने सारे विभाग अपने पास रख लिए और अपनी पार्टी के दूसरे विधायकों को कोई मंत्रीपद नहीं दिया। ऐसा करने से अधिकतर विधायक चौटाला से नाराज होकर खट्टर के पाले में चले गए थे। मौके का फायदा उठाते हुए खट्‌टर ने दुष्यंत पर इसी बात का खूब दबाव बनाया और सरकार भी चलाई। अब खट्टर जजपा से बागी हुए इन्हीं विधायकों को कुर्सी बचाने का इनाम देना चाहते हैं।

वोट प्रतिशत बना भाजपा के लिए सिरदर्द
लोकसभा चुनाव 2024 में भाजपा हरियाणा में केवल 5 सीटें ही जीत पाई थी। 90 विधानसभाओं में भाजपा 42 सीटों पर ही आगे रही। भाजपा को 46.06 वोट प्रतिशत मिले हैं, जबकि 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में भाजपा का 58 प्रतिशत वोट शेयर था। 5 सालों में पार्टी का प्रदेश में 11.06 वोट प्रतिशत घटा है। भाजपा विधानसभा चुनाव से पहले वोट प्रतिशत को मजबूत करना चाहती है।

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