मेडिकल टीम गांव में ही मौजूद है।
दंतेवाड़ा जिले के कुआकोंडा ब्लॉक के हड़मामुंडा में 50 ग्रामीण फूड प्वाइजनिंग के शिकार हो गए हैं। इनमें से 26 ग्रामीणों का कुआकोंडा अस्पताल, 4 ग्रामीणों का जिला अस्पताल और 20 ग्रामीणों का गांव में ही इलाज चल रहा है। मेडिकल टीम गांव में ही डेरा जमाए हुए
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जानकारी के मुताबिक, हड़मामुंडा गांव के रहने वाले हूंगा कर्मा के घर छठी कार्यक्रम था, जिसमें इलाके के सैकड़ों ग्रामीण सामूहिक भोज के लिए पहुंचे थे। खाने में बकरा और मुर्गा भात खाए। खाने के बाद एका-एक ग्रामीणों की तबीयत बिगड़ती गई। ग्रामीणों को उल्टी-दस्त की शिकायत होने लगी, जिसके बाद ग्रामीणों ने इस बात की खबर फौरन स्वास्थ्य विभाग की टीम को दी।
कुछ बीमार लोगों का अस्पताल में इलाज चल रहा है।
मेडिकल टीम गांव में ही मौजूद
वहीं स्वास्थ्य विभाग की टीम आज दोपहर में गांव पहुंची। जहां मेडिकल कैंप लगाया गया, जिसके बाद सभी ग्रामीणों का इलाज किया गया। इनमें से 30 ग्रामीणों को अस्पताल रेफर किया गया है। 26 ग्रामीणों का कुआकोंडा अस्पताल और 4 का जिला अस्पताल में इलाज चल रहा है। इन 4 में अश्वनी (03), हिड़मा (36), बामन (08) और शीनू (03) की हालत गंभीर है।
गर्मी की वजह से हुए बीमार
दरअसल, जिले में भीषण गर्मी पड़ रही है। इसी के साथ मुर्गा और बकरा खाने से पाचन क्रिया बिगड़ गई। जिससे लोगों को उल्टी-दस्त होने लगी। फिलहाल मेडिकल टीम फूड प्वाइजनिंग के अन्य कारणों का पता लगाने में जुटी हुई है।