चिमटी में पांच जगहों पर बाघ के पंजे के निशान पाए गए हैं। इसके बाद से ग्रामीण काफी दहशत में हैं।
जमशेदपुर के चांडिल के तुलग्राम-खूंटी के जंगल में विचरण कर रहा बाघ अब शहर के करीब पहुंच गया है। डिमना लेक से दस किलोमीटर दूर टाटा-पटमदा रोड पर चिमटी गांव में बाघ होने की पुष्टि वन विभाग ने की है। चिमटी में पांच जगहों पर बाघ के पंजे के निशान पाए गए हैं
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वन विभाग के मुताबिक, बाघ चिमटी में ही विचरण कर रहा है। गुरुवार को बाघ का लोकेशन दलमा पहाड़ के चिपिंगडाड़ी में मिला था। वहां भी पंजे के निशान पाए गए। गुरुवार रात बाघ ने एक मोर का शिकार भी किया, जिसके अवशेष वन विभाग को मिले हैं। बाघ के विचरण की सूचना से आसपास के ग्रामीण डरे हुए हैं।
चिमटी में पांच जगहों पर बाघ के पंजे के निशान पाए गए हैं।
घर के बाहर मुर्गी बांधने की सलाह मामले की गंभीरता को देखते हुए पीसीसीएफ (प्रधान मुख्य वन संरक्षक) वाइल्ड लाइफ शशि शेखर सामंता दलमा पहुंचे। उन्होंने अपने स्तर से बाघ के होने की पड़ताल की। जहां बाघ के पंजे के निशान पाए गए, वहां अवलोकन किया। पीसीसीएफ ने बाघ के दलमा और आसपास के इलाके में होने की पुष्टि की। साथ ही ग्रामीणों को सतर्क रहने और घर के बाहर मुर्गी बांधने की सलाह दी।
पीसीसीएफ ने वन विभाग की टीम को लगातार गश्त लगाने का निर्देश दिया है। बाघ की खोजबीन के लिए ट्रैकिंग कैमरे भी लगाए गए हैं। पीसीसीएफ के साथ आरसीसीएफ स्मिता पंकज, डीएफओ सबा आलम अंसारी, रेंजर दिनेश चंद्रा, अपर्णा चंद्रा समेत वन विभाग के अन्य अधिकारी मौजूद थे। जानकारी हो कि 31 दिसंबर को बाघ को तुलग्राम-खूंटी के जंगल में देखा गया था।
बाघ की खोजबीन के लिए ट्रैकिंग कैमरे भी लगाए गए हैं।
विभाग अपना रहा पीआईपी तकनीक बाघ के दलमा में मौजूदगी के लिए वन विभाग पआईपी (पग मार्क आईडेंटिफिकेशन पैग्स) अपना रहा है। इस तकनीक में आधा किमी का स्ट्रेच बनाया जाता है, जिसमें मिट्टी-बालू बिछाया जाता है। इसपर बाघ का मूवमेंट होगा तो उसके पैर के निशान दिखेंगे। पीआईपी तकनीक पर ही दो जगहों पर बाघ के पंजों के निशान मिले। वन विभाग ने चिमटी के अलावे पगदा, लायलम, गोबरघुसी आदि जगहों पर पीआईपी अपनाई है।
पीसीसीएफ (प्रधान मुख्य वन संरक्षक) वाइल्ड लाइफ शशि शेखर सामंता दलमा पहुंचे। उन्होंने अपने स्तर से बाघ के होने की पड़ताल की।
टाटा-पटमदा रोड में बरतें सावधानी टाटा-पटमदा मुख्य सड़क किनारे स्थित चिमटी (बोड़ाम प्रखंड) में बाघ के निशान पाए जाने के बाद वन विभाग ने आस-पास के ग्रामीणों को रात के समय मुख्य सड़क पर आवागमन करने में सावधानी बरतने को कहा है।
बाघ दलमा में मौजूद है। दो जगहों पर उसके पंजे के निशान मिले हैं। हालांकि जहां पर्यटकों का आना-जाना रहता है, वहां से बाघ काफी दूर है। उसके पलामू टाइगर रिजर्व से आने की संभावना है। हालांकि बाघ को देखने के बाद ही यह स्पष्ट होगा कि बाघ पलामू का है या नहीं। आस-पास के ग्रामीणों को सतर्क रहने को कहा गया है। -शशि शेखर सामंता, पीसीसीएफ-वाइल्ड लाइफ
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