पटना पुलिस ने फिजिकल टेस्ट के दौरान दो सिपाही अभ्यर्थियों को गिरफ्तार किया है। दोनों ने स्कॉलर से रिटेन एग्जाम दिलवाया था। बायोमेट्रिक अटेंडेंस मैच नहीं होने पर मामले का खुलासा है। एक औरंगाबाद का रहने वाला है, जबकि दूसरा सासाराम का है।
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पकड़े गए दोनों अभ्यर्थियों ने रिटेन एग्जाम पास कराने के लिए स्कॉलर से 1-1 लाख रुपए में डील हुई थी। रिटेन एग्जाम में स्कॉलर का बायोमेट्रिक अटेंडेंस बना था। शुक्रवार को जब अभ्यर्थी फिजिकल टेस्ट देने पहुंचे तो अटेंडेंस मैच नहीं हुआ। जिसके बाद सेंटर पर मौजूद अधिकारियों ने सख्ती से पूछताछ की तो दोनों ने अपना जुर्म कबूल कर लिया।
स्कॉलर के नेटवर्क को खंगाला जा रहा है
गर्दनीबाग थानाध्यक्ष संजीव कुमार ने बताया कि पूछताछ में पकड़े गए अभ्यर्थियों ने बताया कि रिटेन टेस्ट पास कराने के लिए स्कॉलर को अपनी जगह बिठाया था। इसके बदले एक-एक लाख रुपए दिया गया था। पुलिस स्कॉलर के पूरे नेटवर्क को खंगाल रही है।

रिटेन एग्जाम में 1 लाख 7 हजार 79 अभ्यर्थी सफल हुए थे
केन्द्रीय चयन पर्षद (CSBC) ने 14 नवंबर को सिपाही भर्ती परीक्षा का रिजल्ट जारी किया था। इस परीक्षा में 1 लाख 7 हजार 79 अभ्यर्थी सफल हुए हैं। 7, 11, 18, 21, 25 और 28 अगस्त, 2024 को सिपाही भर्ती परीक्षा हुई थी। यह परीक्षा बिहार पुलिस कॉन्स्टेबल के 21 हजार 391 रिक्त पदों को भरने के लिए ली गई थी। करीब 17 लाख 87 हजार 720 उम्मीदवारों ने आवेदन दिया था। जिसमें से 12 लाख के करीब कैंडिडेट शामिल हुए थे।
फिजिकल टेस्ट और दस्तावेज जांच के लिए 9 दिसंबर 2024 से 10 मार्च 2025 तक का समय दिया था। गर्दनीबाग थाना क्षेत्र के शहीद राजेंद्र प्रसाद सिंह राजकीय उच्च विद्यालय सेंटर बनाया गया है।
पेपर लीक के बाद दोबारा हुई थी परीक्षा
सिपाही भर्ती परीक्षा 1 अक्टूबर 2023 को हुई थी। इसका पेपर लीक हुआ था। इसके बाद इस परीक्षा को रद्द कर दिया गया था। सिपाही भर्ती पेपर लीक में आर्थिक अपराध में खुलासा करते हुए बताया है कि इसका सरगना भी नालंदा के नगरनौसा का संजीव मुखिया उर्फ लूटन ही है। पेपर एग्जाम के 4 दिन पहले ही लीक हो गया था।

EOU की जांच में ये भी पता चला है कि जो प्रश्नपत्र मोतिहारी जाने वाले थे, वो पटना में गाड़ी में लोड होकर 6 घंटे खड़ी थी। इसी दौरान संजीव मुखिया और उसकी गैंग ने क्वेश्चन पेपर गायब किए। प्रश्न-पत्रों की फोटो खींचने के बाद इसे सॉल्व किया गया।
अभ्यर्थियों से पैसे लेकर इनकी आंसर की उपलब्ध कराई गई। एग्जाम के दिन पेपर और आंसर की वायरल हुई थी। इतना ही नहीं संजीव मुखिया को जब पता चला कि कोलकाता में सिपाही बहाली का प्रश्नपत्र छप रहा है, तब वह गिरोह के कुछ शातिरों के साथ कोलकाता पहुंच गया।
