चंडीगढ़ में धरने पर बैठे सफाई कर्मचारी, फाइल फोटो
चंडीगढ़ में राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग ने राजकीय मेडिकल कालेज एंड हॉस्पिटल (जीएमसीएच) सेक्टर-32 के सफाई कर्मचारी बबलू की नौकरी बहाली के मुद्दे पर जीएमसीएच के डायरेक्टर प्रिंसिपल और अन्य अधिकारियों को तलब किया। आयोग ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने क
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ज्वाइंट एक्शन कमेटी जीएमसीएच सेक्टर-32 चंडीगढ़ के प्रधान सुखबीर सिंह के मुताबिक, बबलू की नौकरी बहाली के लिए सफाई कर्मचारियों ने 23 दिनों तक संघर्ष किया। हालांकि, प्रधानमंत्री के चंडीगढ़ दौरे के चलते सुरक्षा कारणों से भूख हड़ताल को एक सप्ताह के लिए स्थगित करना पड़ा। इसके बावजूद ज्वाइंट एक्शन कमेटी ने अस्पताल प्रशासन से इस मुद्दे पर निर्णय लेने की अपील की थी।
सफाई कर्मचारी आयोग में उठाया गया मुद्दा
राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग ने चंडीगढ़ प्रशासन, पीजीआई और नगर निगम के अधिकारियों के साथ सफाई कर्मचारियों से जुड़े मुद्दों पर चर्चा की। इस दौरान बबलू की बहाली का मुद्दा भी प्रमुखता से उठाया गया। सुखबीर सिंह ने बताया कि प्रशासन द्वारा कर्मचारियों की आवाज दबाने और नेतृत्व को प्रताड़ित करने की घटनाओं को भी आयोग के समक्ष रखा गया।

जीएमसीएच चंडीगढ़
डायरेक्टर प्रिंसिपल का आश्वासन
मीटिंग के बाद राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग के चेयरमैन एम. वेकेंटेशन ने डायरेक्टर प्रिंसिपल को निर्देश दिया कि बबलू को नौकरी बहाल करने का एक और मौका दिया जाए। डायरेक्टर प्रिंसिपल ने इस पर आश्वासन देते हुए कुछ समय की मांग की।
ज्वाइंट एक्शन कमेटी की मांग
ज्वाइंट एक्शन कमेटी जल्द ही डायरेक्टर प्रिंसिपल से मुलाकात कर बबलू की बहाली सुनिश्चित करेगी। सुखबीर सिंह ने कहा कि देशभर में जेम पोर्टल के माध्यम से आउटसोर्सिंग कर्मचारियों की बाहरी राज्यों में ट्रांसफर और नौकरी समाप्त करने की प्रथा को बंद करना चाहिए, ताकि भविष्य में किसी परिवार को इस तरह की यातना न झेलनी पड़े। संघर्ष जारी रहेगा, जब तक बबलू को न्याय नहीं मिलता।