7 lakh people in the capital suffering from power cuts | बिजली कटौती से परेशान राजधानी के 7 लाख लोग: इंदिरा नगर से लेकर गोमती नगर समेत पूरे शहर में कटौती से परेशान लोग, बारिश के बाद बढ़ी परेशानी – Lucknow News


बिजली संकट को लेकर मंत्री और ऊर्जा विभाग के सभी दावे खोखले साबित हो रहे है। राजधानी में रविवार रात से लेकर सोमवार सुबह तक करीब 7 लाख से ज्यादा की आबादी को बिजली कटौती का सामना करना पड़ा। इंदिरा नगर, गोमती नगर, महानगर नगर, आलमबाग, आशियाना, उतरठिया, ठा

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ट्रांसमिशन में आई खराबी तो अंधेरा में डूबा इंदिरा नगर

इंदिरानगर ट्रांसमिशन उपकेंद्र में रविवार रात 10 बजे खराबी आ गई। इसकी वजह से इंदिरा नगर न्यू उपकेंद्र, अमराई गांव, सुगामऊ और महिला पॉलीटेक्निक उपकेंद्र ठप हो गए। इसकी वजह से तकरोही, चांदन, मुलायम नगर, मायावती कॉलोनी, इस्माइलगंज, हरिहरनगर, गाजीनगर, आशुतोष विहार, राधिका पुरी, शिवनगरी सहित आसपास की करीब एक लाख आबादी अंधेरे में डूब गई।

हालांकि लेसा की तरफ से दूसरे स्रोत से सप्लाई नॉर्मल करने की कोशिश की गई लेकिन दूसरे उपकेंद्र पहले से ओवरलोड थे। ऐसे में फौरी राहत भी ठीक से नहीं मिल पाई। स्थिती यह थी कि इंदिरा नगर ओल्ड से जुड़े इलाकों में ट्रिपिंग की समस्या बढ़ गई। रात 11 बजे सप्लाई नॉर्मल करने का दावा किया गया लेकिन ईस्माइलगंज द्वितीय वार्ड के पूर्व पार्षद आरपी सिंह ने बताया कि रात एक बजे के बाद भी समस्या बनी रही। उन्होंने बताया कि गर्मी आते ही वार्ड की करीब 1 लाख से ज्यादा की आबादी को पूरे सत्र में दिक्कत रहती है। विभाग के लोग महज कागजी दावा करते है।

गोमती नगर विस्तार में पूरी रात आना- जाना लगा रहा

गोमती नगर विस्तार सेक्टर एक से छह तक के उपभोक्ताओं के यहां पूरी रात बिजली का आना- जाना लगा रहा। करीब एक लाख से ज्यादा की आबादी यहां रात 11 से सुबह 5 बजे तक कटौती से परेशान रही। यहां रहने वाले राकेश सिंह ने बताया कि पिछले एक महीने से कभी कोई ऐसा दिन नहीं गुजरा है, जब पूरे 24 घंटे सप्लाई मिली हो। यहां तक की रात में 10 से 15 बार बिजली कटती है। उन्होंने बताया कि उपकेंद्र पर फोन करो तो वहां कोई उठाता है।

1 सप्ताह में 135 से ज्यादा ट्रांसफार्मर खराब

गर्मी की वजह से पिछले एक सप्ताह में करीब 135 से ज्यादा ट्रांसफॉर्मर खराब हो गए। स्थिति यह है कि 4000 से ज्यादा ट्रांसफॉर्मर पर लोड बढ़ाने की जरूरत है। ​​​लेसा सूत्रों का कहना है, प्रतिदिन करीब 20 से ज्यादा छोटे-बड़े ट्रांसफॉर्मर खराब हो रहे हैं। इसमें सबसे ज्यादा ट्रांसफॉर्मर शहर के आउटर इलाके और ग्रामीण इलाके में खराब हो रहे हैं। लेसा में मौजूदा समय ट्रांसफॉर्मर की संख्या 40 हजार तक पहुंच गई है। इसमें 100 केवी से नीचे के ट्रांसफॉर्मर सबसे ज्यादा खराब होते है।

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